tag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post9196932891958734376..comments2023-10-20T05:09:47.697-05:00Comments on <center> मेरी आवाज </center>: मुंबई के कुछ ही शहीदों को सलाम क्यूं ??राम त्यागीhttp://www.blogger.com/profile/05351604129972671967noreply@blogger.comBlogger5125tag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post-13968118466525236292009-01-23T09:10:00.000-06:002009-01-23T09:10:00.000-06:00नहीं जी लेख पढ़कर नाराज होने वाली कोई बात ही नहीं ह...नहीं जी लेख पढ़कर नाराज होने वाली कोई बात ही नहीं है…, असली गलती तो टेबल पर बैठकर या सिर्फ़ महानगरों में रहकर राष्ट्रीय(?) पत्रकारिता करने वालों की है, इन्हीं लोगों को कश्मीर में शहीद होने वाले जवान भी नहीं दिखते और कभी-कभी पाकिस्तान से दोस्ती के दौरे पड़ते रहते हैं… ये चॉकलेटी पत्रकार TRP की महिमा के मारे हुए हैं, इनसे कोई उम्मीद करना बेकार ही है…Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/02326531486506632298noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post-16031131600972843582009-01-23T02:39:00.000-06:002009-01-23T02:39:00.000-06:00सच कहा आपने .आपकी बातो से सहमत हूँ...पर ये शायद सम...सच कहा आपने .आपकी बातो से सहमत हूँ...पर ये शायद समाज की पुरानी व्यवस्था या सोच है यहाँ जब कोई बड़ा आदमी नेक काम करता है तो उसका शोर सब जगह मचता है....डॉ .अनुरागhttps://www.blogger.com/profile/02191025429540788272noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post-62595357698755340152009-01-23T01:11:00.000-06:002009-01-23T01:11:00.000-06:00बात तो आपकी सही है।चाहे उड़ीसा की झील में, नक्सलिय...बात तो आपकी सही है।<BR/>चाहे उड़ीसा की झील में, नक्सलियों के हमले से, 30 से अधिक पुलिस जवान डूबे हों या छत्तीसगढ़ में अक्सर होने वाली शहादत, इन सबकी कोई चर्चा नहीं होती।<BR/><BR/>चर्चा होती है उनकी, जिन्हें कथित मीडिया अपनी टीआरपी के चक्कर में हंगामाखेज ऊँचाईयों तक ले जाता है।<BR/><BR/>… और ऐसा, हर क्षेत्र में किया जाता है।Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post-12337832537043840692009-01-22T23:37:00.000-06:002009-01-22T23:37:00.000-06:00आपकी बात सही है बिल्कुल ..यही विचार इस कविता के मा...आपकी बात सही है बिल्कुल ..यही विचार इस कविता के माध्यम से मेरी कलम से लिखे गए थे .<BR/>http://ranjanabhatia.blogspot.com/2008/12/blog-post_16.htmlरंजू भाटियाhttps://www.blogger.com/profile/07700299203001955054noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6861547640369354038.post-34925636477839389652009-01-22T22:54:00.000-06:002009-01-22T22:54:00.000-06:00उस्ताद, आप की सभी बातों में दम है।उस्ताद, आप की सभी बातों में दम है।Dr Parveen Choprahttps://www.blogger.com/profile/17556799444192593257noreply@blogger.com